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धुंध, धूल और धुएं से बढ़ने लगी दिलों की धड़कन बुजुर्ग ही नहीं युवा भी हो रहे हृदय रोग के शिकार
नई दिल्ली । धुंध,धूल और धुआं से बच्चे, बुजुर्ग ही नहीं युवाओं के दिलों की धड़कन बढ़ने लगी है। प्राइवेट और सरकारी अस्पतालों की ओपीडी से लेकर इमरजेंसी में सांस और हृदय रोगियों की संख्या बढ़ रही है। संजयनगर स्थित संयुक्त अस्पताल की इमरजेंसी में पहुंचे मधुबन-बापूधाम के रहने वाले सांस के गंभीर मरीज 52 वर्षीय अशोक शनिवार को उपचार के दौरान के मौत हो गई। मृतक के भाई सोनू ने बताया कि जीटीबी अस्पताल में चिकित्सकों ने पूरी रात वेंटिलेटर पर रखकर आक्सीजन दी,
लेकिन सुबह 10 बजे चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया। जिला एमएमजी अस्पताल की ओपीडी की पड़ताल करने पर पाया गया कि सांस के सबसे अधिक मरीज पहुंच रहे हैं। बाल रोग विशेषज्ञ डा. मुकेश चंद्रा की ओपीडी में 310 बीमार बच्चे पहुंचे। इनमें से अधिकांश की पसली चल रही थी। 22 बच्चों को भर्ती किया गया है। सीएमएस डॉ. मनोज कुमार चतुर्वेदी ने बताया कि ओपीडी में 213 हृदय रोगी पहुंचे।
इनमें से 65 की ईसीजी जांच कराने के बाद 12 को भर्ती किया गया है और तीन को रेफर। ओपीडी में आंखों में खुजली और जलन की शिकायत पर 168 मरीज पहुंचे। जिला एमएमजी अस्पताल की ओपीडी में पहुंचे कुल 1530 में खांसी और गले में खराश के 423 मरीज पहुंचे। इनमें से 140 का छाती का एक्स-रे कराने पर 92 के फेफड़ों में संक्रमण पाया गया। बुखार के 250 और 234 त्वचा रोगी भी पहुंचे। संयुक्त अस्पताल की ओपीडी में 920 मरीजों में बुखार के 143 मरीजों के साथ 107 बीमार बच्चे पहुंचे। आंखों में जलन के 141और सांस के 123 मरीज पहुंचे। 95 हृदय रोगी और 86 त्वचा रोगी भी पहुंचे। 27 को भर्ती किया गया और सात को रेफर । इनमें सांस के तीन गंभीर मरीज भी शामिल हैं। जिला एमएमजी अस्पताल में भर्ती मरीजों की संख्या 92 है।
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