मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा विदेशी निवेश को बढ़ावा देने के प्रयासों के उत्साहजनक परिणाम सामने आए हैं। पाँच प्रमुख जर्मन कंपनियाँ 18 अगस्त से पाँच दिवसीय प्रवास पर मध्य प्रदेश आ रही हैं।
विदेशी निवेश को आकर्षित करने के मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के प्रयासों के परिणाम सामने आने लगे हैं। विदेशी निवेश को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री की यूरोप यात्रा के परिणामस्वरूप, जर्मन कंपनियों ने अब मध्य प्रदेश का रुख किया है। मध्य प्रदेश ग्लोबल स्टार्टअप एक्सचेंज कार्यक्रम के तहत, पाँच प्रमुख जर्मन तकनीकी कंपनियों का दौरा 18 अगस्त से 22 अगस्त तक चल रहा है। इससे मध्य प्रदेश और जर्मनी के बीच व्यापार और नवाचार को बल मिलेगा। मध्य प्रदेश के उद्यमों और जर्मन कंपनियों के बीच रणनीतिक साझेदारी बढ़ेगी। साथ ही, तकनीकी आदान-प्रदान और निवेश के अवसर भी बढ़ेंगे। मध्य प्रदेश ग्लोबल स्टार्टअप एक्सचेंज कार्यक्रम का उद्देश्य प्रौद्योगिकी हस्तांतरण, सर्वोत्तम प्रथाओं का आदान-प्रदान, कृत्रिम बुद्धिमत्ता, डेटा एनालिटिक्स और आईटी उद्योग में नवीन प्रयासों को प्रोत्साहित करना है।
इन क्षेत्रों में नई संभावनाओं की होगी तलाश
जर्मन कंपनियों का यह दौरा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, इंटरनेट ऑफ थिंग्स और डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन जैसे क्षेत्रों में नई संभावनाओं का सेतु बनेगा। इससे राज्य में अनुसंधान और नवाचार की दिशा को नई ऊर्जा मिलेगी। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि इस तरह की वैश्विक तकनीकी साझेदारियाँ राज्य में नवाचार और रोज़गार के नए अवसर पैदा करेंगी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि "यह पहल सिर्फ़ तकनीकी सहयोग की शुरुआत नहीं है, बल्कि मध्य प्रदेश के लिए एक व्यापक नवाचार यात्रा की नींव है। वैश्विक ज्ञान आदान-प्रदान और अत्याधुनिक तकनीक से विकसित परिवर्तनकारी साझेदारियाँ राज्य के स्टार्टअप्स और उद्यमियों को अंतर्राष्ट्रीय बाज़ार तक पहुँचने में मदद करेंगी।"
प्रतिनिधिमंडल में कौन-कौन शामिल होंगे?
प्रतिनिधिमंडल में टायलर के स्टीवन रैनविक, टैलोनिक के निकोलस, स्टेक्स की एलेक्जेंड्रा के. मिकित्युक, क्यू-नेक्ट-एजी के मटियास प्रोग्चा और क्लाउड-स्क्विड के फिलिप रेजमुश शामिल हैं। ये कंपनियाँ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस आधारित डेटा इंटीग्रेशन, वर्कफ़्लो ऑटोमेशन, IoT और कनेक्टिविटी समाधान, एंटरप्राइज़ सॉफ़्टवेयर और दस्तावेज़ प्रसंस्करण (AI) तकनीक के क्षेत्र में अपनी विशेषज्ञता के लिए विश्व स्तर पर जानी जाती हैं। इन कंपनियों का अनुभव और तकनीकी क्षमता मध्य प्रदेश के उद्यमियों, स्टार्टअप्स और युवाओं को वैश्विक प्रतिस्पर्धा के लिए तैयार करेगी।
प्रतिनिधिमंडल इंदौर और भोपाल का दौरा करेगा
प्रतिनिधिमंडल इंदौर प्रवास के दौरान तकनीकी कार्यशालाओं और रणनीतिक चर्चाओं में शामिल होगा। प्रतिनिधिमंडल आईआईटी इंदौर स्थित इन्क्यूबेशन सेंटर का दौरा करेगा और स्थानीय स्टार्ट-अप्स से संवाद स्थापित करेगा। इसके बाद, भोपाल प्रवास के दौरान उद्योग विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों और शैक्षणिक एवं तकनीकी संस्थानों के साथ उच्चस्तरीय बैठकें करेगा। यह संपूर्ण कार्यक्रम तकनीकी सहयोग, अनुसंधान और निवेश से जुड़ी ठोस संभावनाओं का मार्ग प्रशस्त करेगा।
कई तकनीकी साझेदारी समझौतों पर हस्ताक्षर होंगे
प्रतिनिधिमंडल के बीच बी2बी व्यावसायिक बैठकें और कई तकनीकी साझेदारी समझौते होंगे। साथ ही, अंतर्राष्ट्रीय निवेश और नई साझेदारियों के द्वार खुलेंगे। इस पहल से प्रदेश के हजारों उच्च कुशल युवाओं के लिए रोजगार का सृजन होगा। इससे प्रदेश के युवा वैश्विक प्रशिक्षण कार्यक्रमों से जुड़ सकेंगे। साथ ही, प्रदेश में नए 'अनुसंधान एवं विकास' केंद्रों की स्थापना का मार्ग प्रशस्त होगा। यह दौरा मध्य प्रदेश के लिए एक व्यापक नवाचार यात्रा की नींव साबित होगा। यह दौरा वैश्विक ज्ञान और अत्याधुनिक तकनीक के साथ परिवर्तनकारी साझेदारियाँ विकसित करेगा, जिससे प्रदेश के स्टार्ट-अप्स और उद्यमियों के लिए अंतर्राष्ट्रीय बाजार तक पहुँचने का मार्ग प्रशस्त होगा। यह पहल मध्य प्रदेश की नवाचार केंद्र के रूप में स्थिति को और मज़बूत करेगी और आने वाले वर्षों में राज्य को भारत का एक प्रौद्योगिकी केंद्र बनाने की दिशा में निर्णायक गति प्रदान करेगी।
कार्यक्रम सूची
इंदौर-उज्जैन (18-20 अगस्त)
* 18 अगस्त: इन्फोबीन्स मुख्यालय में स्वागत, "भारत से वैश्विक स्तर के डिजिटल उत्पादों का निर्माण" विषय पर प्रस्तुति, फ़ायरसाइड चैट, नेटवर्किंग लंच और स्वागत रात्रिभोज।
* 19 अगस्त: इनोवेशन लैब भ्रमण, डिज़ाइन थिंकिंग कार्यशाला, गोलमेज सम्मेलन और शाम को B2B मैच-मेकिंग और सांस्कृतिक भ्रमण।
* 20 अगस्त: आईआईटी इंदौर और इनक्यूबेशन सेंटर उज्जैन का दौरा, स्टार्ट-अप्स के साथ बातचीत और साझेदारी पर चर्चा।
भोपाल (21-22 अगस्त)
* 21 अगस्त: "मध्य प्रदेश में निवेश" गोलमेज सम्मेलन, एमपीआईडीसी मुख्यालय में बैठकें, B2B मैच-मेकिंग और नेटवर्किंग डिनर।
* 22 अगस्त: विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग और बी-नेस्ट इनक्यूबेशन सेंटर का दौरा, आईएम ग्लोबार कार्यालय का दौरा, सांस्कृतिक विरासत भ्रमण और मीडिया ब्रीफिंग।
अन्य देशों के साथ भी सहयोग किया जाएगा।
यह कार्यक्रम इनक्यूबेशन मास्टर्स, जर्मनी-भारत इनोवेशन कॉरिडोर और एमपीआईडीसी के सहयोग से आयोजित किया जा रहा है। यह राज्य की प्राथमिकताओं के अनुरूप है। आत्मनिर्भर मध्य प्रदेश” और “डिजिटल इंडिया” के लिए सहयोग यात्राएँ आयोजित की जाएँगी। भविष्य में अमेरिका, सिंगापुर, यूएई और अन्य तकनीकी रूप से अग्रणी देशों के साथ इसी प्रकार की सहयोग यात्राएँ आयोजित की जाएँगी, जिससे मध्य प्रदेश को वैश्विक टेक-हब के रूप में स्थापित करने के लक्ष्य को बल मिलेगा।